डॉ. जैन ने 6 नवंबर 1987 को शिवपुरी कॉलेज में पदभार संभाला था।
शिवपुरी के श्रीमंत माधव राव सिंधिया शासकीय प्रधानमंत्री एक्सीलेंस महाविद्यालय की संस्कृत विभाग अध्यक्ष डॉ. मधुलता जैन 41 सालों की सेवा के बाद सेवानिवृत्त हो गईं। उन्होंने अपने 38 वर्षों के कार्यकाल में कई उपलब्धियां हासिल कीं।
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डॉ. जैन ने 6 नवंबर 1987 को शिवपुरी कॉलेज में पदभार संभाला। इससे पहले वे पिछोर और भांडेर में कार्यरत थीं। उनकी सबसे उल्लेखनीय उपलब्धि रही कि उन्होंने तीन विद्यार्थियों- सरिता राजोरिया, रेखा जैन और रीतेश सोनी को जीवाजी विश्वविद्यालय में एम.ए. संस्कृत में टॉपर बनाया। उनकी शिक्षण क्षमता को देखते हुए विश्वविद्यालय के कुलपति ने उन्हें विशेष सम्मान से नवाजा। उनके मार्गदर्शन में 6 विद्यार्थियों ने पीएचडी की उपाधि भी प्राप्त की।
‘जो वो कहती थीं, हर एक मानता था’ अंग्रेजी विभाग की प्रोफेसर डॉ पल्लवी शर्मा गोयल ने कहा कि 1991 से 1996 के दौरान जब मैं महाविद्यालय में ग्रेजुएशन और पोस्ट ग्रेजुएशन कर रही थी। तब फाउंडेशन में संस्कृत विषय का अध्ययन डॉ मधुलता ही कराती थीं। फिर इसी महाविद्यालय में जब अतिथि बनकर अंग्रेजी पढ़ाना शुरू किया तो कई सारे अनुभव उनसे जीवन में सीखने मिले। पीएससी फाइट कर जब इसी कॉलेज में अंग्रेजी प्राध्यापक पद पर पदस्थापना हुई, तब भी उनसे बहुत कुछ सीखा। 38 सालों से महाविद्यालय में जो वो कहती थीं, चाहे छात्र हो या प्रोफेसर हर एक मानता था, ये उनका प्रभाव रहा।
इनकी रही उपस्थिति इस अवसर पर महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ पवन श्रीवास्तव जन भागीदारी समिति के अध्यक्ष अजय भार्गव सहित सहित कई अन्य लोग कार्यक्रम में मौजूद रहेl विदाई के अवसर पर ग्वालियर से हिंदी विभाग की प्रोफेसर डॉ. पदमा शर्मा पदरज, पूर्व प्राचार्य डॉ. अनीता जैन, डॉ. अंजना और समता इंदौरिया सहित कई वरिष्ठ शिक्षाविद् विशेष रूप से उपस्थित रहे।