Monday, November 3, 2025
Homeविदेशअमेरिकी पासपोर्ट पहली बार टॉप-10 लिस्ट से बाहर: सिंगापुर पहले नंबर...

अमेरिकी पासपोर्ट पहली बार टॉप-10 लिस्ट से बाहर: सिंगापुर पहले नंबर पर, भारत की रैंकिंग में 8 पायदान का सुधार


वॉशिंगटन डीसी7 घंटे पहले

  • कॉपी लिंक

अमेरिकी पासपोर्ट पहली बार दुनिया के सबसे ताकतवर पासपोर्ट की टॉप 10 लिस्ट से बाहर हो गया। हेनली पासपोर्ट इंडेक्स 2025 के मुताबिक, 20 साल में ऐसा पहली बार हुआ है।

अब अमेरिकी पासपोर्ट 12वें नंबर पर है, जो मलेशिया के बराबर है। इस पासपोर्ट से 227 में से 180 देशों में बिना वीजा के जा सकते हैं।

दूसरी ओर, सिंगापुर का पासपोर्ट सबसे ताकतवर है, जो 193 देशों में वीजा-फ्री एंट्री देता है। इसके बाद दक्षिण कोरिया (190) और जापान (189) हैं।

इंडेक्स के मुताबिक, भारतीय पासपोर्ट 77वें पायदान पर है। भारत की रैंकिंग में 2025 के पहले क्वार्टर के मुकाबले 8 पायदान का सुधार हुआ है। भारतीय पासपोर्ट के साथ 59 देशों में वीजा-फ्री या वीजा-ऑन-अराइवल (VOA) एक्सेस मिलता है।

क्यों कमजोर हुआ अमेरिकी पासपोर्ट?

कई देशों ने अमेरिकियों के लिए वीजा नियम सख्त कर दिए। ब्राजील ने अप्रैल में वीजा-फ्री एंट्री खत्म कर दी है। चीन ने अपने वीजा-फ्री प्रोग्राम में अमेरिका को शामिल नहीं किया। पापुआ न्यू गिनी, म्यांमार, भारत, सोमालिया और वियतनाम के नए नियमों ने भी अमेरिकी पासपोर्ट की ताकत पर असर डाला है।

हेनली एंड पार्टनर्स के चेयरमैन क्रिश्चियन केलिन ने कहा- अमेरिकी पासपोर्ट की ताकत में कमी सिर्फ रैंकिंग की बात नहीं है। यह दिखाता है कि दुनिया में ताकत का खेल बदल रहा है। जो देश खुलापन अपनाते हैं, वे आगे बढ़ रहे हैं, और जो पुरानी सोच पर टिके हैं, वे पीछे रह रहे हैं।

एनी फोर्जहाइमर नाम की एक्सपर्ट ने कहा कि अमेरिका की सख्त नीतियों वाली सोच उनके पासपोर्ट की ताकत में कमी के रूप में दिख रही है।

भारत की बढ़ती ताकत से रैंकिंग में सुधार

ग्लोबल लेवल पर भारत की बढ़ती ताकत का असर उसकी पासपोर्ट रैंकिंग पर भी पढ़ा है। इसके अलावा डिजिटल तकनीक का इस्तेमाल और नए समझौतों ने भी खास रोल निभाया है।

भारतीय पासपोर्ट में सुधार की वजह…

  • समझौते: भारत ने फिलीपींस और श्रीलंका जैसे देशों के साथ वीजा-फ्री या VOA समझौते किए।
  • मजबूत कूटनीति: भारत की बढ़ती अर्थव्यवस्था और रिश्तों की वजह से मलेशिया, थाईलैंड जैसे देशों ने वीजा नियम आसान किए।
  • डिजिटल सुविधा: ई-वीजा और VOA को बढ़ावा मिला, जो इंडेक्स में गिना जाता है।
  • पर्यटन और व्यापार: भारत से ज्यादा पर्यटक और व्यापार देखकर देशों ने छूट दी।

ब्रिटेन का पासपोर्ट भी कमजोर हुआ

ब्रिटिश पासपोर्ट भी नीचे खिसककर छठे से आठवें नंबर पर आ गया। 2015 में यह पहले नंबर पर था। वहीं, चीन का पासपोर्ट 2015 में 94वें स्थान पर था, जो अब 64वें स्थान पर पहुंच गया। इसे 37 नए देशों में बिना वीजा फ्री एंट्री मिली है।

चीन 76 देशों को बिना वीजा अपने यहां आने देता है, जो अमेरिका से 30 ज्यादा है। चीन ने रूस, खाड़ी देशों, दक्षिण अमेरिका और यूरोप के कई देशों के साथ वीजा-फ्री समझौते किए हैं।​​​​​​

——————————– यह खबर भी पढ़ें…

ट्रम्प टाइम मैगजीन के कवर पर अपनी तस्वीर देखकर नाराज:कहा- मेरे सिर के बाल गायब कर दिए, कुछ अजीब चीज रख दी

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने टाइम मैगजीन के कवर पर अपनी तस्वीर को लेकर नाराजगी जताई है। उन्होंने इसे अब तक की सबसे खराब तस्वीर करार दिया। ट्रम्प ने सोमवार को अपनी नाराजगी ट्रुथ सोशल पर जताई और कहा कि टाइम ने उनके बारे में अच्छा लेख लिखा है, लेकिन अब तक की शायद सबसे खराब तस्वीर लगाई है। यहां पढ़ें पूरी खबर…

खबरें और भी हैं…



Source link

RELATED ARTICLES
- Advertisment -

Most Popular

Recent Comments