डल्ला, लांडा, भोला… बिश्नोई और बंबीहा गैंग का कनाडा में काउंट डाउन शुरू

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डल्ला, लांडा, भोला… बिश्नोई और बंबीहा गैंग का कनाडा में काउंट डाउन शुरू


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी-7 समिट में शामिल होने के लिए कनाडा गए थे. वहां उन्होंने कैनेडियन प्रधानमंत्री मार्क कार्नी से मुलाकात की. सूत्रों के मुताबिक, इस दौरान उन्होंने कनाडा में छिपे बैठे भारत के आठ भगोड़े आतंकियों और गैंगस्टरों की लिस्ट सौंपी है. गृह मंत्रालय के निर्देश पर इन आतंकियों और गैंगस्टरों की खुफिया जानकारी जुटाकर एक डोजियर तैयार किया गया है, जिसमें खालिस्तानी आतंकी अर्शदीप सिंह गिल उर्फ अर्श डल्ला और लखबीर सिंह ‘लांडा’ जैसे नाम शामिल हैं.

सूत्रों के अनुसार, जिन आठ अपराधियों की लिस्ट सौंपी गई है, उसमें अर्श डल्ला और लखबीर लांडा के अलावा लॉरेंस बिश्नोई गैंग का सदस्य लिपिन नेहरा, हिमांशु भाऊ के करीबी सहयोगी राहुल उर्फ हैरी कैलाश रितोली और लक्ष्य गुड़्धन, और देविंदर बंबीहा गैंग का नया सरगना लकी पटियाल शामिल हैं.

लकी वर्तमान में कनाडा से ही अपना गैंग चला रहा है और उसके पास पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश, दिल्ली और पश्चिमी उत्तर प्रदेश में लगभग 400 शूटर सक्रिय हैं. उस पर 5 लाख रुपये का इनाम घोषित है.

बंबीहा गैंग के भी गुंडों पर नकेल

इस लिस्ट में बंबीहा गैंग का सदस्य जाहर सिंह उर्फ प्रिंस चौहान भी शामिल है, जो पंजाब में फिरौती के मामलों में आरोपी है. वहीं गुरजंत सिंह उर्फ भोला, जो पंजाब के तरनतारण जिले के हवेलियां गांव का निवासी है, एक अंतरराष्ट्रीय ड्रग सिंडिकेट का प्रमुख चेहरा है. बताया जा रहा है कि भोला के पाकिस्तान और अफगानिस्तान से भारत में हेरोइन और अन्य मादक पदार्थों की तस्करी में संलिप्तता है, साथ ही वह कोलंबिया से अमेरिका और कनाडा में कोकीन पहुंचाने की कड़ी का हिस्सा भी है. भोला के संबंध अमृतपाल सिंह उर्फ बाट और अंतरराष्ट्रीय ड्रग लॉर्ड शहनाज़ सिंह उर्फ शॉन भिंडर से भी हैं.

केंद्रीय एजेंसियों ने अर्श डल्ला की गिरफ्तारी के लिए रॉयल कनाडियन माउंटेड पुलिस (RCMP) से संपर्क साधा था. एजेंसियों को जानकारी मिली कि डल्ला को दिसंबर में जमानत मिलने के बाद उस पर लगाए गए एंकल मॉनिटरिंग ब्रैसलेट को उसने 30,000 कनाडाई डॉलर का जुर्माना भरकर हटवा लिया था. यह पहली बार था जब भारत की किसी केंद्रीय जांच एजेंसी ने सीधे तौर पर आरसीएमपी से डल्ला की गिरफ्तारी को लेकर बात की.

नए रिश्तों की शुरुआत

सूत्रों के मुताबिक, भारत और कनाडा के बीच ट्रांसनेशनल अपराधों से निपटने के लिए एक जॉइंट वर्किंग ग्रुप के गठन को लेकर भी बातचीत चल रही है. इस पहल का मकसद दोनों देशों के रिश्तों को दोबारा मजबूत करना है. खासकर 2023 में खालिस्तान समर्थक हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के बाद उपजे तनाव के बाद. इस ज्वाइंट ग्रुप के जरिये भारत खालिस्तानी उग्रवाद और आतंकवाद से जुड़ी चिंताओं को उठा सकेगा, वहीं कनाडा अपनी न्यायिक प्रक्रिया से जुड़े मुद्दों पर चर्चा कर सकेगा.

सितंबर 2023 में कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारत की ‘संभावित संलिप्तता’ का आरोप लगाया था, जिससे दोनों देशों के संबंधों में भारी खटास आ गई थी और एक-दूसरे के राजनयिकों को निष्कासित करना पड़ा था. इसके बाद कनाडा की विदेशी हस्तक्षेप आयोग ने भारत को कनाडा की चुनावी प्रक्रिया में ‘दूसरे सबसे सक्रिय देश’ के रूप में नामित किया था. भारत ने इन आरोपों को ‘बिल्कुल निराधार और राजनीति से प्रेरित’ बताया है.



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